जालंधर : कोरोना के कारण मृत्यु दर सबसे कम होने के कारण जिला राज्य में सीएफआर इंडेक्स में 15वें स्थान पर है। डीसी घनश्याम थोरी ने बताया कि जिले में कोरोना के शुक्रवार तक 56400 पाजिटिव केस पाए गए थे, जिनमें से 1290 की मौत होने से मृत्यु दर 2.29 प्रतिशत है। उन्होंने बताया कि कोरोना जांच के लिए सैंपल लेने, मरीजों के संपर्क में आए लोगों की पहचान करने और समय पर इलाज की सुविधा उपलब्ध करवाने के कारण ही मृत्यु दर को सबसे कम किया जा सका है।
जिले में कोविड टेस्टिंग के लिए चलाए गए अभियान के अंतर्गत स्वास्थ्य और पुलिस विभाग की सांझी टीमों ने जिले के अलग-अलग स्थानों पर व्यापक टेस्ट किए। इसके साथ ही हाट-स्पाट इलाकों में 100 प्रतिशत सैंपलिंग के साथ-साथ पाजिटिव लोगों के संपर्क में आए लोगों की अधिक से अधिक पहचान की गई। समय पर घर में एकांतवास करने और इलाज उपलब्ध करवाने के कारण भी मृत्यु दर को काबू में रखने में मदद मिली।
जालंधर में लाकडाउन के साथ कोरोना के मरीजों की संख्या में गिरावट आने लगी है। इसके साथ एक्टिव मरीजों का ग्राफ भी गिरने लगा है। अस्पतालों में खाली बेडों की मांग भी कम होने लगी है।
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