जालंधर : सोशल मीडिया पर 11 वर्षीय लड़की के पिता की संस्कार को ले वायरल हुई वीडियो पर तुरंत करवाई करते हुए डिप्टी कमिश्नर घनश्याम थोरी ने इस सारी घटना की जांच के आदेश दिए थे, जिसमें पता चला है कि लड़की की मृत्यु कोविड -19 कारण नहीं हुई। डिप्टी कमिश्नर ने बताया कि सब डिविज़नल मैजिस्ट्रेट जालंधर -1 की तरफ से पेश की गई रिपोर्ट अनुसार मृत्यु का कारण कोविड -19 नहीं था ,जबकि उसकी कोरोना वायरस रिपोर्ट नेगेटिव पाई गई।
उन्होनें बताया कि लड़की को इलाज के लिए जालंधर के सिविल अस्पताल में दाख़िल करवाया गया था ,जहाँ से उसे अमृतसर के मैडीकल कालेज में रैफर कर दिया गया और एक एंबुलेंस के द्वारा मरीज़ को अमृतसर भेजा गया जहाँ वह सरजीकल वार्ड में दाख़िल रही। मृत्यु के बाद एंबुलेंस के द्वारा मृतक शरीर को जालंधर उनके घर लाया गया। जानकारी देते हुए कोविड पेशेंट ट्रेकिंग अधिकारी (सी.पी.टी.यो.) नवनीत कौर बल्ल ने बताया कि न तो परिवार का कोई सदस्य और साथ ही उस इलाके से कोई संस्कार में मदद लेने के लिए आगे आया। उन्होनें बताया कि यदि कोई केस में मदद लेना चाहता है, तो ज़िला प्रशासन के कंट्रोल रूम नंबर 0181 -2224417 और सिविल सर्जन जालंधर के कंट्रोल रूम नंबर 0181 -2224848 पर संपर्क कर सकता है।
उन्होनें बताया कि आम मामलों में (कोविड -19 मौतों के इलावा) यदि मृतक शरीर परिवार को सौंप दिया जाता है तो उसकी अंतिम रस्में परिवार की तरफ से निभाई जाती हैं,हालाँकि इस केस में किसी ने भी संस्कार में सहायता के लिए पहुँच नहीं की। उन्होनें बताया कि कोविड -19 मामलों में मृतयु होने पर संस्कार के लिए प्रोटोकाल अपनाए जा रहे हैं, जबकि यह अलग केस था और मृतक की कोविड -19 रिपोर्ट नेगेटिव थी।
मृतक के परिवार के साथ गहरे दुख का दिखावा करते हुए डिप्टी कमिश्नर ने परमात्मा आगे अरदास की कि दुखी परिवार को यह न पूरा होने वाली कमी सहन की शक्ति दें । उन्होनें परिवार को इस दुख की घड़ी में हर संभव मदद देने का भरोसा भी दिलाया।
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